तीन दिवसीय लखीसराय अकादमी सम्मेलन 2025 एवं लाली पहाड़ी महोत्सव का लगातार दूसरा दिन सफल आयोजन।
लखीसराय

लखीसराय – बुधवार दिनांक 26 नवम्बर 2025 को लखीसराय संग्रहालय में आयोजित लखीसराय अकादमी सम्मेलन 2025 एवं लाली पहाड़ी महोत्सव के दूसरे दिन
के सत्र संपन्न हुए। यह सम्मेलन 25 से 27 नवम्बर तक “ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य में मगध : नवीन शोध” विषय पर केंद्रित है, जिसमें देश-विदेश के विख्यात पुरातत्वविद,
इतिहासकार एवं शोधकर्ता भाग ले रहे हैं। कार्यक्रम का उद्घाटन 25 नवम्बर 2025 को जिला पदाधिकारी लखीसराय श्री मिथिलेश मिश्र द्वारा पारंपरिक दीप
प्रज्वलन के साथ किया गया। आज 26 नवम्बर 2025 को सम्मेलन के दूसरे दिन लाली पहाड़ी महोत्सव के अंतर्गत सत्रों का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में
प्रोफेसर अनिल सिंह द्वारा सभी विशिष्ट अतिथियों का परिचय कराया गया। जिला पदाधिकारी श्री मिथिलेश मिश्र ने संबोधित करते हुए संविधान दिवस पर उपस्थित
जनों को शपथ दिलाई तथा नशा मुक्ति दिवस के महत्व पर भी संदेश साझा किया। आज के प्रथम वक्ता के रूप में प्रोफेसर असंगा तिलवरत्न ने मगध की प्राचीन
सांस्कृतिक संरचना पर अपने विचार प्रस्तुत किए। आज के कार्यक्रम में ऑनलाइन व ऑफलाइन दोनों माध्यमों से विद्वानों ने सहभागिता की। ऑफलाइन सत्र में प्रो. असंगा
तिलवरत्न, प्रो. साबित के पास, डॉ. रोहित दसनायिका सहित अन्य विशेषज्ञ जबकि प्रोफेसर मैक्स डिग,ईशान हरित, एवं डॉक्टर शुभा मजूमदार ने ऑनलाइन माध्यम से
अपने वक्तव्य साझा किए। तीनों दिनों के दौरान मगध के
इतिहास, पुरातत्व, शिल्पकला एवं सांस्कृतिक विरासत पर विविध शोध प्रस्तुतियाँ आयोजित की जा रही हैं,
जिनसे लखीसराय की प्राचीन धरोहरों को नई पहचान मिल रही है। समारोह में अपर समाहर्ता श्री नीरज कुमार, उप विकास आयुक्त श्री सुमित कुमार, जिला कला एवं
संस्कृति पदाधिकारी सुश्री प्राची कुमारी, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी श्री रवि कुमार सहित कई अधिकारी,

शोधार्थी, शिक्षक, छात्र-छात्राएँ एवं बड़ी संख्या में दर्शक उपस्थित रहे।





