राष्ट्रीय खेल दिवस पर फुटबॉल मैच का आयोजन,दोस्ताना फुटबॉल मैच लखीसराय और चानन के बीच।
लखीसराय

लखीसराय – राष्ट्रीय खेल दिवस के अवसर पर शुक्रवार 29 अगस्त को लखीसराय जिले के केआरके मैदान में एक दोस्ताना फुटबॉल मैच का आयोजन किया गया। इस मैच में लखीसराय और चानन की टीमों ने भाग लिया। रोमांचक मुकाबले में लखीसराय की टीम ने शानदार प्रदर्शन करते हुए जीत अपने नाम की।
यह फुटबॉल मैच बिहार और लखीसराय फुटबॉल एसोसिएशन के तत्वावधान में तथा एआईएफएफ और बीओए से संबंध रखने वाले बबलू शर्मा के नेतृत्व में आयोजित हुआ।
कार्यक्रम का शुभारंभ एडीएम प्रभाकर, नगर परिषद अध्यक्ष अरविंद पासवान तथा समाजसेवी प्रशांत की उपस्थिति में किया गया। इसके अलावा, बिहार फुटबॉल एसोसिएशन के जिला अध्यक्ष सह संग्रामपुर पंचायत के मुखिया दीपक सिंह ने भी उद्घाटन समारोह में भाग लेकर खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन किया।
मैच के दौरान खिलाड़ियों ने बेहतर तालमेल और खेल भावना का परिचय दिया। दर्शकों ने भी खिलाड़ियों का उत्साह बढ़ाने में कोई कमी नहीं छोड़ी। अंत में विजेता टीम लखीसराय के खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया और पराजित टीम के प्रदर्शन की भी सराहना की गई।
राष्ट्रीय खेल दिवस पर आयोजित यह फुटबॉल मैच खेल प्रेमियों के लिए यादगार साबित हुआ और जिले में खेल भावना को बढ़ावा देने वाला रहा।
इस दौरान दीपक सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय खेल दिवस पर लखीसराय के केआरके मैदान में खेले गए दोस्ताना फुटबॉल मैच ने यह साबित कर दिया कि खेल केवल जीत और हार तक सीमित नहीं है। वास्तव में, फुटबॉल जैसे खेल समाज और युवाओं को कई स्तरों पर लाभ पहुँचाते हैं।
सबसे पहला फायदा खिलाड़ियों को होता है। फुटबॉल खेलना शरीर को तंदुरुस्त रखता है। लगातार दौड़ने और रणनीति बनाने से शारीरिक फिटनेस के साथ-साथ मानसिक मजबूती भी मिलती है। खिलाड़ी सीखते हैं कि टीमवर्क और अनुशासन ही सफलता की असली कुंजी है। हार-जीत की परिस्थितियों से गुजरने पर धैर्य और आत्मविश्वास भी बढ़ता है।
दूसरा बड़ा लाभ समाज को मिलता है। ऐसे आयोजनों से लोगों में भाईचारा और एकता की भावना बढ़ती है। जब खिलाड़ी मैदान पर खेल भावना दिखाते हैं, तो दर्शक भी उससे प्रेरित होते हैं। युवाओं के लिए यह संदेश होता है कि खाली समय को गलत रास्तों में लगाने से बेहतर है कि खेल-कूद में सक्रिय रहें।
तीसरा, इन मैचों से जिले को पहचान मिलती है। प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को आगे बढ़ने का मौका मिलता है, जिससे वे राज्य और राष्ट्रीय स्तर तक अपनी प्रतिभा दिखा सकते हैं। वहीं, आयोजन के कारण जिले का नाम भी खेल जगत में उजागर होता है।
फुटबॉल सिर्फ एक खेल नहीं, बल्कि स्वास्थ्य, अनुशासन, एकता और अवसर का माध्यम है। यही कारण है कि ऐसे मैचों का आयोजन समाज और खिलाड़ियों दोनों के लिए बेहद जरूरी है।




